Monday, August 7, 2017

गरुड़ पुराण सदाचार - आचार्य राधेश्याम द्विवेदी

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 गरुण पुराण, वेदव्यास जी द्वारा रचित 18 पुराणो में से एक है। गरुड़ पुराण में 279 अध्याय तथा 18000 श्र्लोक हैं। इस ग्रंथ में मृत्यु पश्चात की घटनाओं, प्रेत लोक, यम लोक, नरक तथा 84 लाख योनियों के नरक स्वरुपी जीवन आदि के बारे में विस्तार से बताया गया है । हमारे धर्म ग्रंथों में अनेक ऐसी बातें बताई गई हैं जो हमें लाइफ मैनेजमेंट के सूत्र सिखाती हैं, गरुड़ पुराण भी एक ऐसा ही ग्रंथ हैं जो हमें जीवन से जुड़ी अनेक गुप्त बातों से अवगत करवाता है, ये बातें हमारे लिए जानना बहुत ही जरूरी है। गरुड़ पुराण के नीतिसार में बताया गया है कि किस चीज से क्या नष्ट हो जाता है-
1. गंदे कपड़े पहनने से सौभाग्य नष्ट हो जाता है:-जो लोग धन और सभी सुख-सुविधाओं से संपन्न हैं, फिर भी गंदे कपड़े पहनते हैं तो उनका सौभाग्य नष्ट हो जाता है। गरुड़ पुराण में बताया गया है कि ऐसे लोगों को महालक्ष्मी त्याग देती हैं और समाज में भी सम्मान प्राप्त नहीं होता है। साफ एवं सुगंधित वस्त्र धारण करने पर लक्ष्मी की विशेष कृपा बनी रहती है।
2. अभ्यास के बिना विद्या नष्ट हो जाती है:-यदि हम विद्या का निरंतर अभ्यास नहीं करेंगे तो उस ज्ञान को भूल सकते हैं। अत: हम जो भी चीजें सीखते हैं, उनका लगातार अभ्यास करते रहना चाहिए।
3. संतुलित और सुपाच्य भोजन से रोगों का नाश होता है:-अधिकांश बीमारियां असंतुलित खान-पान की वजह से ही होती हैं। हमें सदैव सुपाच्य भोजन ही ग्रहण करना चाहिए। ऐसे भोजन से पाचन तंत्र ठीक से काम करता है और भोजन से पूर्ण ऊर्जा शरीर को प्राप्त होती है। पाचन तंत्र स्वस्थ रहता है और इस वजह से हम रोगों से बचे रहते हैं।

4. चतुरता पूर्ण नीति से शत्रु नष्ट होता है :-शत्रुओं से निपटने के लिए चतुरता पूर्ण नीति का सहारा लेना चाहिए। शत्रु लगातार हमें नुकसान पहुंचाने का प्रयास करते रहते हैं और यदि हमें चतुरता नहीं दिखाएंगे तो हानि हमारी ही होती है। अत: जैसा शत्रु है, उसके अनुसार नीति का उपयोग करके उसे नष्ट किया जा सकता है।

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