Saturday, April 12, 2025

डा.रामदास पाण्डेय "गम्भीर" (बस्ती के छंदकार भाग 3 कड़ी 22)

 डा.रामदास पाण्डेय "गम्भीर" 
(बस्ती के छंदकार भाग 3 कड़ी 22)
डा. मुनि लाल उपाध्याय 'सरस' 
आचार्य डॉ. राधेश्याम द्विवेदी 
स्मृति शेष डा. मुनि लाल उपाध्याय 'सरस' जी के बस्ती जनपद के छंदकार नामक शोध प्रबंध के पांडुलिपि के पृष्ठ 591पर गंभीर जी से संबंधित संदर्भ प्रस्तुत किया है। उनका जन्म 10 फरवरी 1943 को उत्तर प्रदेश के बस्ती जिले के ग्राम मनौवा, तप्पा कनैला ; परगना : नगर पूरब ; तहसील : बस्ती ; जनपद : बस्ती ; (जो राम जानकी रोड पर स्थित है) में हुआ था। यह गांव महादेवा विधान सभा क्षेत्र में आता है। बाद में वे किसान डिग्री कालेज के सामने पुराने डी ई ओ एस के पास "अस्तित्व भवन", सिविल लाइन्स, बस्ती में अपना नगरीय मकान निर्मित कराकर रहने लगे थे। डॉ. रामदास पाण्डेय "गम्भीर" एक भारतीय लेखक, प्रधानाचार्य और दार्शनिक थे। उन्होंने चालीस पुस्तकें लिखीं, जिनमें से अधिकांश शोध पर थीं। उनका शोध विषय "अस्तित्ववाद" था। वे अस्तित्व प्रकाशन के लेखक थे, जो उनके नाम से पंजीकृत था। वे बस्ती जिले के साहित्यकारों की समिति आचार्य रामचंद्र शुक्ल समिति के वरिष्ठ सदस्य भी थे। वे कई स्कूलों और कॉलेजों के प्रधानाचार्य थे, जिनमें शहीद इंटर कॉलेज मधुबन, झिनकूलाल इंटर कॉलेज बस्ती, कन्या महाविद्यालय बस्ती और कई अन्य स्कूल शामिल हैं। वह देशराज नारंग इण्टर कालेज गोविन्द नगर वाल्टरगंज  में प्रवक्ता रहे है।  यह अपने दार्शनिक कविताओं के लिए बहुचर्चित हैं। इनकी कविताओं में दानवता के कारण दुरूहता है। “डॉ. रामदास पाण्डेय द्वारा हिंदी भाषा में लिखी गई  पुस्तक "अस्तित्ववाद" पर उनकी शोध पुस्तकों में से एक थी। उन्होंने अपनी किताब में अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा के बारे में लिखा था, जिसके लिए उन्हें सम्मानित करने के लिए अमेरिका से निमंत्रण भी मिला था, लेकिन उसी साल ब्रेन हेमरेज के कारण उनकी बोलने और लिखने की क्षमता चली गई और वे जाने में असमर्थ हो गए। उनकी कुछ किताबें उत्तर प्रदेश के कई सीनियर कॉलेजों और साहित्यिक मेलों में प्रदर्शित की गईं। 
मृत्यु- 
डॉ. रामदास पाण्डेय "गम्भीर" का 24 अक्टूबर 2024 को उनके बस्ती स्थित आवास पर हृदयाघात से निधन हो गया और साहित्य जगत का एक बड़ा सितारा चमक उठा।
ग्रंथसूची संबंधी जानकारी:- 
'झंपा शतक' 
'प्रसून' 
“अनेक किन्तु एक" पत्रिका का सम्पादन 
'चतुष्पथ की प्यास' (1993), 
'अस्तित्ववादी लघुकथाएं' (1994),
'बच्चों को प्यार' कविता (1995),
'वैचारिकी' (1988), 
'पवित्रशास्त्र' बाइबल: एक मूल्यांकन' (1996), 'अस्तित्ववादी' (1995), 
'अस्तित्व मणि' (1996), 
'संजीवनी' (1998)।

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